Sourav Ganguly ignored 3 talented cricket players Devendra Bundela Amol Muzumdar Hrishikesh Kanitkar under his captaincy unknowingly see list

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हाइलाइट्स

3 स्टार खिलाड़ियों को सौरव गांगुली ने अपनी कप्तानी में किया नजरअंदाज
घरेलू क्रिकेट में इनका रहा शानदार प्रदर्शन

नई दिल्ली. सौरव गांगुली (Sourav Ganguly) की गिनती देश के सफल कप्तानों में की जाती है. उनकी अगुवाई में कई युवा खिलाड़ियों ने भारतीय टीम में दस्तक दी. जिसमें कई अपने उम्दा प्रदर्शन से इतिहास के पन्नों में अमर हो गए, जबकि कई घरेलू प्रदर्शन को इंटरनेशनल लेवल पर दोहरा नहीं पाए. नतीजा यह रहा कि वह कुछ मुकाबलों के बाद ही टीम से बाहर हो गए.

इसके अलावा कुछ ऐसे खिलाड़ी भी रहे जो घरेलू क्रिकेट में जबर्दस्त प्रदर्शन के बावजूद दादा का भरोसा नहीं जीत पाए. नतीजा यह रहा कि गांगुली ने उन्हें डेब्यू तक का मौका तक नहीं दिया. नहीं तो इन खिलाड़ियों का आज जबर्दस्त पहचान होता. बात करें ऐसे तीन प्रमुख खिलाड़ियों के बारे में जिन्हें गांगुली ने कपनी कप्तानी के दौरान नजरंदाज किया, तो उनके नाम इस प्रकार हैं-

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देवेंद्र बुंदेला (Devendra Bundela):

मध्य प्रदेश के पूर्व कप्तान देवेंद्र बुंदेला का घरेलू क्रिकेट में जबर्दस्त प्रदर्शन रहा. इसके बावजूद वह सौरव गांगुली को प्रभावित नहीं कर पाए. बुंदेला के प्रदर्शन का अंदाजा इसी बात से लगाया जा सकता है कि उन्होंने फर्स्ट क्लास क्रिकेट में 164 मैच खेलते हुए 261 पारियों में 43.68 की औसत से 10004 रन बनाए हैं. इस बीच उनके बल्ले से 26 शतक और 54 अर्द्धशतक निकले.

फर्स्ट क्लास क्रिकेट ही नहीं लिस्ट ए में भी उनका प्रदर्शन सरहनीय रहा. यहां उन्होंने 82 मैच खेलते हुए 77 पारियों में 41.05 की औसत से 2299 रन बनाए. बल्लेबाजी के साथ-साथ बुंदेला गेंद से भी हिट रहे. उनके नाम फर्स्ट क्लास क्रिकेट में 58 और लिस्ट ए क्रिकेट में 27 सफलता दर्ज है.

अमोल मजूमदार (Amol Muzumdar):

मुंबई के पूर्व क्रिकेटर अमोल मजूमदार का घरेलू क्रिकेट करियर बेहद शानदार रहा. इसके बावजूद उन्हें इंटरनेशनल लेवल पर शिरकत करने का मौका नहीं मिला. उन्होंने फर्स्ट क्लास क्रिकेट में 171 मैच खेलते हुए 260 पारियों में 48.13 की औसत से 11167 रन बनाए. इस दौरान उनके बल्ले से 30 शतक और 60 अर्द्धशतक निकले.

फर्स्ट क्लास क्रिकेट के अलावा लिस्ट ए प्रारूप में भी उनका जलवा रहा. उन्होंने यहां 113 मैच खेलते हुए 106 पारियों में 38.20 की औसत से 3286 रन बनाए. इस दौरान उनके बल्ले से तीन शतक और 26 अर्द्धशतक निकले. घरेलू क्रिकेट में इतना जबर्दस्त प्रदर्शन के बावजूद गांगुली सहित देश के अन्य कप्तान उन्हें नजरअंदाज करते रहे.

ऋषिकेश कानिटकर (Hrishikesh Kanitkar):

मध्य प्रदेश के होनहार खिलाड़ी ऋषिकेश कानिटकर को भी गांगुली की अगुवाई में निराशा ही हाथ लगी. दरअसल वह मोहम्मद अजहरुद्दीन की अगुवाई में भारतीय टीम के लिए डेब्यू करने में कामयाब तो रहे, लेकिन इंटरनेशनल लेवल पर हो घरेलू प्रदर्शन को लंबे समय तक नहीं रख पाए. नतीजा यह रहा कि अजहरुद्दीन के जाते ही उनका भी टीम से पत्ता कट गया और गांगुली ने उन्हें दोबारा टीम में कभी मौका नहीं दिया.

ऋषिकेश ने फर्स्ट क्लास क्रिकेट में 146 मैच खेलते हुए 222 पारियों में 52.26 की औसत से 10400 रन बनाए हैं. वहीं लिस्ट ए क्रिकेट में उनके नाम 3526 रन दर्ज है. गेंदबाजी के दौरान भी उनका जलवा रहा. उनके नाम फर्स्ट क्लास क्रिकेट में 74 और लिस्ट ए क्रिकेट में 70 विकेट दर्ज है.

वहीं बात करें उनके इंटरनेशनल क्रिकेट करियर के बारे में तो उन्होंने देश के लिए कुल दो टेस्ट मुकाबले खेले. इस बीच उनके बल्ले से चार पारियों में 18.50 की औसत से 74 और वनडे की 27 पारियों में 17.84 की औसत से 339 रन निकले.

Tags: Hrishikesh Kanitkar, Sourav Ganguly, Team india



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